फणीभूषण टुडू (संवाददाता चांडिल)
चाण्डिल। झारखंड में स्वच्छ भारत मिशन के तहत कार्य करने वाले प्रखंड स्तर से लेकर जिला स्तर में कार्यरत करीब 700 संविदा कर्मियों की नौकरी खतरे में है। जिसको लेकर स्वच्छ भारत मिशन के तहत कार्य करने वाले कर्मी अब एकजुट होते हुए दिख रहे है और अपने क्षेत्र के विधायको को ज्ञापन सौपकर नौकरी से न हटाकर सेवा बरकरार रखने की मांग कर रहे हैं। इसी को लेकर सोमवार को कोल्हान प्रमंडल के सरायकेला,पूर्वी सिंहभूम और पश्चिम सिंहभूम जिला के स्वच्छ भारत मिशन के कर्मियों का एक प्रतिनिधिमंडल जमशेदपुर पूर्वी के विधायक और पूर्व मंत्री सरयू राय को एक ज्ञापन सौंपा। ज्ञापन सौपकर इन कर्मियों ने झारखंड में विभिन्न पदों यथा जिला परामर्शी, लेखापाल, कम्प्यूटर ऑपरेटर, प्रखंड समन्वयक एवं सोशल मोबलाईजर के रूप में कार्यरत करीब 700 कर्मियों को नही हटाने की मांग को विधानसभा के पटल पर रखने की मांग की और सभी कर्मियों को दूसरे परियोजनाओं में समायोजित किए जाने अथवा उक्त विभाग या अन्य विभागों की रिक्त नियमित पद पर समायोजित करने की मांग की।
बाह्य स्रोत से रखने की तैयारी, सरकार के नीति के विपरित:अनिल कुमार
स्वच्छ भारत मिशन के एक कर्मी अनिल कुमार ने कहा कि झारखंड में इन पदों पर पूर्व से कार्यरत अनुबंध कर्मी की सेवा बरकरार नहीं रखते हुए नये रूप में बाह्य स्रोत से रखने की तैयारी की जा रही है, जिससे स्पष्ट है पूर्व से कार्यरत 700 कर्मी बेरोजगार हो जाएंगे, जबकि यह कार्रवाई झारखंड सरकार के नीति के विपरित है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार का अविभाजित बिहार से ही यह निर्णय है। कि किसी केन्द्रीय परियोजना के बंद होने की दशा में इन कर्मियों को दूसरे परियोजनाओं में समायोजित किया जाय अथवा उक्त विभाग या अन्य विभागों की रिक्त नियमित पद पर समायोजित किया जाय। वर्तमान में परियोजना बंद भी नहीं हुआ फिर भी नई व्यवस्था के नाम पर कार्यरत कर्मियों को बेरोजगार करना उचित प्रतीत नहीं होता है। उन्होंने सहानुभूतिपूर्वक विचार करते हुए सेवा में बरकरार रखे जाने की मांग की है।